जी20 शेरपा अमिताभ कांत ने समिटअप 2024 कार्यक्रम के पहले दिन मुख्य भाषण दिया। उन्होंने भारत को 30 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने पर जोर दिया।
Santosh Kumar | October 10, 2024 | 08:45 PM IST
नई दिल्ली: आईआईएम बैंगलोर-एनएसआरसीईएल के उद्यमिता और नवाचार केंद्र ने समिटअप 2024 का सफल आयोजन किया। इस कार्यक्रम में टेक और डीपटेक, गवर्नेंस, प्रभाव, फंडिंग और जेंडर लेंस जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की गई। कार्यक्रम में 300 से अधिक स्टार्टअप संस्थापक शामिल हुए। इसका उद्देश्य देश में नवाचार और विकास को बढ़ावा देना है।
कार्यक्रम में आईआईएम बैंगलोर और आईआईटी मद्रास द्वारा 'इंडिया इनक्यूबेटर कैलिडोस्कोप 2024' रिपोर्ट लॉन्च की गई। रिपोर्ट में स्टार्टअप्स के विकास, फंडिंग और बौद्धिक संपदा निर्माण में तेजी लाने में इनक्यूबेटर्स की भूमिका पर प्रकाश डाला गया।
रिपोर्ट के अनुसार, इनक्यूबेटेड स्टार्टअप को 2.5 गुना अधिक फंडिंग मिलती है, जिससे रोजगार और आर्थिक विकास में वृद्धि होती है। इससे स्टार्टअप इकोसिस्टम में नीति और व्यवहार पर असर पड़ने की उम्मीद है।
शिखर सम्मेलन के पहले दिन की शुरुआत जी20 शेरपा अमिताभ कांत के मुख्य भाषण से हुई। उन्होंने भारत को 30 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने और शासन और वित्तीय चुनौतियों से निपटने के लिए उद्यमिता में बदलाव की आवश्यकता पर जोर दिया।
दूसरे दिन बिगबास्केट डॉट कॉम के सह-संस्थापक विपुल पारेख ने मुख्य भाषण दिया। इसके बाद पीयूष बंसल, पराग ढोल, आशीष फाफड़िया और कृष्णन एस. अय्यर ने पैनल चर्चा की। इस सत्र में स्टार्टअप्स के कुछ यथार्थवादी विकास मॉडल पर चर्चा की गई।
समिटअप 2024 में पारिस्थितिकी तंत्र के विकास पर चर्चा की गई, जहां उपस्थित लोगों ने जाना कि इनक्यूबेटर भारत के स्टार्टअप परिदृश्य को कैसे प्रभावित कर रहे हैं। आईआईएम बैंगलोर से प्रोफेसर श्रीवर्धिनी के झा और आईआईटी मद्रास से प्रोफेसर थिलाई राजन ने सत्रों का संचालन किया।
इस ट्रैक ने प्रतिभागियों को उनके इनक्यूबेशन कार्यक्रमों को बढ़ाने और स्टार्टअप इकोसिस्टम को मजबूत करने के लिए आवश्यक उपकरण प्रदान किए। संस्थान द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि समिटअप 2024 भारत में स्टार्टअप के भविष्य को सशक्त बनाएगा।